यदि सही फैसला लेना चाहते हैं तो अपनाये ये तरीका


                एक सही फैसला, चाहे घर हो या ऑफिस दोनों जगह आपको महत्वपूर्ण बना देता है। पर सही वक्त पर सही फैसला लेने की असल तरकीब है क्या? इस दौरान किन बातों को ध्यान में रखना जरूरी है? कैसे बढ़ाएं जिंदगी में सही फैसला लेने की अपनी क्षमता, बता रही हैं पूनम जैन ऑफिस में काम करते हुए क्या आपको लगता है कि आप अपने दूसरे सहकर्मियों की तरह तुरंत फैसले नहीं ले पातीं? छोटी-सी बात पर फैसला करते समय कई तरह की आशंकाओं में घिर जाती हैं? हालांकि कई फैसले लेना वाकई कठिन होता है। खासतौर पर ऐसे निर्णय जो ऑफिस में काम को सुचारू ढंग से पूरा करने के लिए तो जरूरी होते ही हैं, करियर में आगे बढऩे में भी खासी भूमिका निभाते हैं। यदि आप अधिकारी स्तर पर काम रही हैं, तो कई फैसले ऐसे भी लेने होते हैं, जिनमें आप खुद को मानवीय मूल्यों और प्रशासनिक मजबूरियों के बीच घिरा पाती होंगी। कारण कोई भी हो, पर इस बात में कोई संदेह नहीं है कि अच्छे और सही फैसले लेना कार्यस्थल पर आपकी उपयोगिता और कार्यकुशलता दोनों को बढ़ाता है। कार्यस्थल पर आप अलग-अलग सोच और कार्यशैली वाले लोगों के साथ काम  करती हैं, ऐसे में निर्णय लेने की प्रक्रिया में अलग-अलग सोच अपनाने की जरूरत पड़ती है। यहां कुछ ऐसे ही मंत्र बताए जा रहे हैं जो घर हो या ऑफिस, दोनों जगह निर्णय लेने की आपकी क्षमता को बढ़ा सकते हैं...


       सतर्कता और उत्साह


       इस प्रक्रिया में सबसे पहले यह देखें कि क्या विषय के संबंध में निर्णय तुरंत लिया जाना है या कुछ समय आपके पास है। यदि  स्थितियां ऐसी हैं कि आपको तुरंत निर्णय लेने की जरूरत है, तो फैसला लेते समय अपने निर्णय लेने के दीर्घकालिक परिणामों के बारे में सोच-समझ लें। आप परंपरागत तरीके से हटकर कुछ नया तभी सोच सकती हैं जब आप अपने आसपास की स्थिति के प्रति पूरी तरह सतर्क होंगी। सामूहिक निर्णय लेना


       जब किसी फैसले तक पहुंचने की        


   प्रक्रिया में कई लोग शामिल होते हैं, तो एक सामान्य स्वीकृति बनाने की कोशिश की जाती है। जो कि सर्वमान्य भी हो और व्यावहारिक भी।


       नजरिया


       टीम सदस्यों या टीम लीडर के रूप में किसी भी चुनौतिपूर्ण स्थिति का सामना करते समय सिर्फ अपनी सोच को लेकर जिद्दी न बन जाएं। विपक्षी के विचारों और असहमति के बिंदुओं को जेहन में अवश्य रखें। उनके तर्क और सोच को समझने की कोशिश करें। यह ट्रिक घर में भी आपके काम आएगी। ऐसा नहीं करना सहकर्मियों के बीच उलझन पैदा करता है। बेहतर होगा कि मिलकर बातचीत करें। ऐसे फैसले तक पहुंचने की कोशिश करें, जिसमें अधिक से अधिक लोगों की सहमति शामिल हो।


       बड़ी तस्वीर देखना


       कुछ कार्य ऐसे होते हैं जिनके संबंध में फैसला लेते समय आपको मात्र पूरी सूचनाओं की जानकारी होना ही काफी होता है और उनका प्रभाव भी सीमित होता है। पर, कुछ ऐसे फैसले भी होते हैं जिनके लिए आपको जोखिम लेना पड़ता है। उन फैसलों पर आपके सहकर्मियों के बीच आपकी साख प्रभावित होती है। ऐसी स्थिति में कोई भी फैसला लेते समय उस संबंध में सभी सकारात्मक और नकारात्मक बिंदुओं का अध्ययन कर लें।